Thursday, March 24, 2011

भारतीय ग्रन्थ और आज का विज्ञान

भारतीय ग्रन्थ और आज का विज्ञान 

आज हम पुरे विश्व में जिस बल बूते पर जाने जाते है वो है हमारा अध्यात्मिक ज्ञान . आज हमारे संत समस्त विश्व को अध्यात्मिक ज्ञान दे रहे है ओर सारा संसार हमारे इस ज्ञान का कायल है . इसलिए ही सारा का सारा संसार आध्यात्मिकता की खोज में भारत ही भागता है . ऐसा क्यों है ? ऐसा इसलिए है कि हमारे पास एक अध्यात्मिक विरासत है हमारे प्राचीन ग्रंथो के रूप में . जो हमारे भारत वर्ष के महान ऋषियों ने रचे थे . यह कोई तथ्यों पर आधारित कोई खोज की हुई रचनाये नहीं थी बल्कि यह तो अतीन्द्रिय अवस्था में उन महान ऋषियों का किया हुआ अविष्कार था जो की आज भी उतना ही सटीक है जितना उस समय था . हमारे ग्रन्थ इतने ज्यादा सार्थक है कि आज भी जो वैज्ञानिक खोजे हो रही है उनका विवरण हमारे ग्रंथो में विधमान है .

मैं आपसे आज के Physics Scientist Stephen Hawkins की समय के बारे में की हुई खोज की बात कर रहा हू Stephen Hawkins कहते है की अगर कोई यान प्रकाश की गति के आस पास किसी भारी पिण्ड के चारो ओर चक्कर कटे तो उसमे बैठे हुए लोगो के लिए समय धीरे चलने लगेगा . अगर यह यान 5 साल तक भारी पिण्ड के चारो ओर चक्कर लगता रहता है तो उसके लिए तो 5 साल बितेगे परन्तु बाहरी दुनिया में 20 साल बीत चुके होंगे . 

यानि ऐसा भी संभव है की हमारे आस पास एक ओर दुनिया भी चल रही हो . यही हमारे प्राचीन ग्रन्थ योग  वसिष्ठ में बताया गया है यदि आप इस महान ग्रन्थ का अध्यन करे तो इसमें लीला की कहानी है इस कहानी के माध्यम से यह बताया गया है की ब्रहमांड के अन्दर ब्रहमांड चल रहा है . ओर भी बहुत कुछ इस ग्रन्थ में बताया गया है  जोकि Stephen Hawkins जैसे महान वैज्ञानिक की बातो से हू बहू है . 

ओर भी बहुत सी इसी बाते है जो मैं समय समय पर आप के साथ बाटता रहूगा. लेकिन इस लेख में माध्यम से मैं आपसे एक प्रार्थना करना चाह रहा हू की आप आने वाली हमारी पीढ़ी को इन ग्रथो को पढने के लिए उत्साहित करे अपने बच्चो को अपने महान ग्रंथो की ताकत के बारे में बता कर उन्हें पढने के लिए प्रेरित करे ताकि इन महान ग्रंथो में छुपी हुई ताकत को निकल कर समाज का भला किया जा सके .... कर्मश : .... 

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